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यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन (UTI)

यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन (UTI): कारण, लक्षण और उपचार

अधिकांश यूटीआई संक्रमण निचले मूत्र पथ (urinary tract), जैसे मूत्राशय और मूत्रमार्ग में संक्रमण को इंगित करते हैं। महिलाओं में यूरिनरी ट्रैक्ट छोटा होने के कारण उनमें यूटीआई संक्रमण होने का अधिक खतरा होता है। हालाँकि, यह पुरुषों में भी होता है। जब यूटीआई मूत्राशय और मूत्रमार्ग को प्रभावित करता  है तो व्यक्ति को अक्सर दर्द और जलन अनुभव होता है। यदि संक्रमण का इलाज समय पर नहीं किया जाता है, तो वे आपकी किडनी में भी फैल सकते हैं और जिसके फलस्वरूप व्यक्ति को गंभीर दुष्परिणाम का सामना करना पड़ सकता है। 

 

लोअर यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन के लक्षण क्या होते हैं?

 

कभी-कभी यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन में व्यक्ति को कोई लक्षण अनुभव नहीं होते हैं। अक्सर इसका शुरुआती लक्षण व्यक्ति को बाथरूम जाने की तीव्र इच्छा जो बढ़ती जाती है, हो सकता है। मूत्र विसर्जन के समय मूत्रमार्ग और आसपास के क्षेत्रों में जलन महसूस होना और कम मात्रा में परंतु बार-बार पेशाब आना भी इसके लक्षणों में शामिल होते हैं। 

इनके अलावा यूटीआई के निम्न अन्य लक्षण होते हैं:

  • क्लाउडी पेशाब आना 
  • रक्त के साथ लाल, गुलाबी या भूरे रंग का मूत्र
  • तेज गंध वाला मूत्र
  • प्यूबिक क्षेत्र के आसपास दर्द (विशेष रूप से महिलाओं में)

 

यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन के कितने प्रकार होते हैं?

  • एक्यूट पायलोनेफ्राइटिस: यह एक प्रकार का किडनी का संक्रमण होता है, इसमें आमतौर पर व्यक्ति को पीठ या बगल में दर्द, ठंड लगने और उल्टी के साथ तेज बुखार, या लगातार उल्टी करने की इच्छा महसूस होती है।
  • सिस्टाईटीस: मूत्राशय (bladder) के संक्रमण के लक्षण में आमतौर पर पेल्विस में दबाव का अनुभव, पेट के निचले हिस्से में बेचैनी और दर्द के साथ बार-बार पेशाब आना शामिल होते है। कभी-कभी पेशाब में खून भी सकता है।
  • यूरेथराइटिस: यूरिनरी ट्रैक्ट के अंतिम भाग या मूत्रमार्ग (urethra) के संक्रमण को यूरेथराइटिस कहते है। आमतौर पर इस स्थिति में पेशाब करते समय जलन की अनुभूति होती है और कभी-कभी, पेशाब में डिस्चार्ज भी होता है।

यदि आपको यूटीआई के लक्षण महसूस हो रहे हैं तो इसको घर पर ही ठीक करने का प्रयास करें। और अपने डॉक्टर से परामर्श कर सही उपचार समय पर लें। गलत एंटीबायोटिक दवाओं के साथ इलाज करने से आपको ऐसा संक्रमण हो सकता है जिसका इलाज मुश्किल होता है। और इस स्थिति का सही इलाज करने से इसके किडनी तक फैलने और कहीं अधिक गंभीर समस्या बनने का खतरा हो जाता है।

 

यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन के क्या कारक होते हैं?

 

आमतौर पर आपके यूरिनरी सिस्टम में संक्रमण से बचाव के लिए कई प्रतिरक्षा व्यवस्थाएँ होती हैं, जिसके कारण बैक्टीरिया आपके यूरिनरी ट्रैक्ट में प्रवेश नहीं कर पाते और उन्हें संक्रमित नहीं कर सकते हैं। हालांकि, कई बार जब कुछ बैक्टीरिया इनसे बच कर मूत्र मार्ग में प्रवेश कर जाते हैं, तो वे मूत्राशय के अंदर विभाजित होना शुरू हो जाते हैं और मूत्र पथ के संक्रमण का कारण बनते हैं। 

 

आमतौर पर यूटीआई के लिए ज़िम्मेदार बैक्टीरिया गुदा से निकटता के कारण पाचन मार्ग से यूरिनरी सिस्टम में प्रवेश करते हैं। हालाँकि, हमेशा यह वजह नहीं हो सकती है। इसलिए, हर बार बाथरूम का उपयोग करते समय, विशेष रूप से महिलाओं के लिए आगे से पीछे की ओर पोंछने की सलाह दी जाती है। 

 

कई लोगों में यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन होने की संभावना दूसरों से अधिक होती है। और इसकी वजह निम्न में से कुछ भी हो सकती है:

  • मूत्रमार्ग की संरचना: महिलाओं में मूत्रमार्ग की लंबाई कम होने के कारण यूटीआई होने की संभावना अधिक होती है। बनावट में असामान्यताओं के साथ पैदा हुए लोगों को भी यूटीआई होने का अधिक जोखिम होता है।
  • यौन स्वच्छता: आप या आपके साथी द्वारा यौन स्वच्छता में कमी से यूटीआई होने की संभावना बढ़ सकती है, खासकर महिलाओं में।
  • जन्म निरोधक उपकरण जैसे डायाफ्राम या शुक्राणुनाशक एजेंट के उपयोग से 
  • जिन महिलाओं में मेनोपॉज आने वाला है या वे इसे पार कर चुकी हैं। एस्ट्रोजेन हार्मोन के घटते स्तर के कारण, इन महिलाओं के मूत्र मार्ग में परिवर्तन होते हैं जिससे यूटीआई होने की संभावना अधिक हो जाती है।
  • रुकावट: गुर्दे की पथरी, या प्रोस्टेट का बढ़ने से व्यक्ति में पेशाब पूरी तरह से खाली नहीं हो पाता जिससे यूटीआई होने का खतरा बढ़ जाता है।
  • लंबी अवधि से कैथेटर या चिकित्सा उपचार का उपयोग 
  • कम प्रतिरक्षा या इम्यूनोसप्रेशन दवा का लंबे समय तक उपयोग 

 

यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन का निदान कैसे किया जाता है?

 

यदि आपको यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन के लक्षण महसूस हो रहे हैं तो तुरंत अपने डॉक्टर से परामर्श करें। यदि आप यूटीआई को अनुपचारित छोड़ देते है तो संक्रमण और भी बिगड़ सकता है। 

 

आपका डॉक्टर यूटीआई की पुष्टि करने के लिए कुछ परीक्षणों के लिए कह सकता है जैसे:

  • यूरिनलिसिस: मूत्र में आरबीसी, डब्ल्यूबीसी और बैक्टीरिया की उपस्थिति का पता लगाना 
  • यूरिन कल्चर: इस परीक्षण द्वारा इस स्थिति पैदा करने वाले बैक्टीरिया के प्रकार की पहचान की जाती है, जिससे सही प्रकार के उपचार को निर्धारित करने में सहायता मिलती है।

 

इनके साथ-साथ, आपके लक्षणों के आधार पर, आपका डॉक्टर अन्य बीमारियों का पता लगाने के लिए अतिरिक्त परीक्षण के लिए सलाह दे सकते हैं, जैसे:

  • अल्ट्रासाउंड
  • सिस्टोस्कोपी: एक विशेष उपकरण द्वारा मूत्रमार्ग के अंदर देखना  
  • सीटी स्कैन

 

यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन के उपचार में क्या शामिल होता है?

 

आपकी जाँचो के परिणाम के आधार पर, आपका डॉक्टर एक उपयुक्त उपचार योजना बनाता है। आमतौर पर, दवाइयों में एक एंटीबायोटिक शामिल होती है। जबकि हर व्यक्ति एंटीबायोटिक दवाओं को आसानी से सहन नहीं करता है, एंटीबायोटिक आपको यूटीआई संक्रमण की वजह से होने वाली बहुत अधिक असुविधा को कम करने में सहायता करती है, इसीलिए यह ध्यान में रखना अति आवश्यक होता है कि एंटीबायोटिक की निर्धारित खुराक को सही समय पर लेना या इसे बीच में ही रोक देना वास्तव में आपकी स्थिति को और खराब कर सकता है। एंटीबायोटिक दवाएं सही तरीके से लेने के कारण  ऐसे बैक्टीरिया उत्पन्न हो सकते हैं जो इन एंटीबायोटिक दवाओं के प्रति अधिक प्रतिरोधी हो जाते हैं। 

 

यदि आपको बार-बार यूटीआई संक्रमण होने की समस्या है, तो आपका डॉक्टर संक्रमण के शुरुआती लक्षणों से ही आपको उपयुक्त दवाइयाँ दे सकता है। अतः कृपया अपने डॉक्टर की सलाह का सही से पालन करें और यदि फिर भी आपको कोई समस्या या असुविधा होती है, तो कुछ भी बदलने से पहले अपने डॉक्टर से इस बारे में परामर्श करें।

 

यदि आपको रजोनिवृत्ति हो चुकी है तो आपका डॉक्टर आपको वैजिनल क्रीम लगाने की सलाह दे सकता है जिसमें कुछ एस्ट्रोजन हार्मोन उपस्थित होता है। यह क्रीम बार-बार होने वाले यूटीआई की समस्या को कम करने में मदद कर सकती है।

 

यूरिनरी ट्रैक्ट इन्फेक्शन को कैसे रोक सकते हैं?

 

  • जब भी आपको पेशाब जाने की आवश्यकता महसूस हो तभी जायें और उसे रोके नहीं 
  • पेशाब करने के बाद हमेशा एक तौलिये से आगे से पीछे की ओर पोंछें
  • बहुत सारे तरल पदार्थ और पानी का सेवन करें और हाइड्रेटेड रहें 
  • नहाने की तुलना में शावर ज्यादा सुरक्षित होता है
  • हाइजीन स्प्रे जैसे किसी भी उत्पाद का उपयोग करें, इससे जलन बढ़ सकती है
  • यौन स्वच्छता पर ध्यान दे, विशेष कर संभोग के तुरंत बाद किसी भी बैक्टीरिया को दूर करने के लिए बाथरूम का उपयोग करें
  • पानी आधारित लब्रिकेंट का उपयोग करें 
  • सामान्य स्वच्छता और ढीले कपड़ों का उपयोग करें 
Dr. Jyoti Wadhwani
Internal Medicine
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